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भारत पाकिस्तान एशिया कप: पाकिस्तान की 3 बड़ी गलतियों ने भारत को दिलाई बड़ी जीत

भारत पाकिस्तान एशिया कप: पाकिस्तान की 3 बड़ी गलतियों ने भारत को दिलाई बड़ी जीत

भारत पाकिस्तान एशिया कप: पाकिस्तान की 3 बड़ी गलतियों ने भारत को दिलाई बड़ी जीत

भारत पाकिस्तान एशिया कप: पाकिस्तानी क्रिकेट टीम ने दुबई में एशिया कप के मुकाबले में भारत के खिलाफ तीन बड़ी रणनीतिक गलतियां कीं. शानदार फॉर्म में चल रही टीम इंडिया ने इन सभी गलतियों का पूरा फायदा उठाया और मैच को आसानी से अपने नाम कर लिया. यह इंटरनेशनल क्रिकेट में पाकिस्तान के खिलाफ भारत की लगातार छठी जीत है, जो 73 साल पुरानी इस रिवालरी में एक नया रिकॉर्ड है.

पहली गलती: टॉस जीतकर भी गलत फैसला

मैच की पहली और सबसे बड़ी गलती पहली गेंद से भी पहले हुई जब पाकिस्तान के कप्तान सलमान अली आगा ने टॉस जीतकर पहले बैटिंग करने का फैसला किया. दुबई इंटरनेशनल क्रिकेट स्टेडियम की पिच पर टारगेट का पीछा करने वाली टीम को स्पष्ट फायदा होता है. पिछले 5 वर्षों में यहां खेले गए शीर्ष टीमों के 18 टी-20 मैचों में से 16 जीत चेजिंग टीम ने हासिल की थी. पाकिस्तान की भारत के खिलाफ इसी मैदान पर पिछली दोनों जीत भी दूसरी पारी में बैटिंग करते हुए ही मिली थीं. इस ऐतिहासिक डेटा को नजरअंदाज करना पाकिस्तान की सबसे बड़ी भूल साबित हुई.

दूसरी गलती: सबसे सफल गेंदबाज को बाहर रखना

पाकिस्तान की दूसरी बड़ी रणनीतिक भूल थी अपने सबसे सफल गेंदबाज हारिस रउफ को प्लेइंग इलेवन से बाहर रखना. एशिया कप में भारत के खिलाफ सबसे ज्यादा सात विकेट लेने वाले रउफ के बिना पाकिस्तान की गेंदबाजी निष्प्रभावी रही. शाहीन अफरीदी शुरुआती दबाव झेलने में नाकाम रहे और दूसरे छोर से कोई दूसरा दमदार फास्ट बॉलर न होने का खामियाजा पूरी टीम को भुगतना पड़ा. भारतीय बल्लेबाजों ने पावरप्ले में ही 61 रन बना कर मैच का रुख तय कर दिया.

भारत पाकिस्तान एशिया कप: पाकिस्तान की 3 बड़ी गलतियों ने भारत को दिलाई बड़ी जीत
भारत पाकिस्तान एशिया कप: पाकिस्तान की 3 बड़ी गलतियों ने भारत को दिलाई बड़ी जीत

तीसरी गलती: रूढ़िवादी और धीमी बैटिंग

आधुनिक टी-20 क्रिकेट का मूल मंत्र है कि विकेट गिरने के बावजूद बैटिंग का आक्रामक रुख बनाए रखना. पाकिस्तान इस मामले में पूरी तरह विफल रहा. शुरुआत में दो विकेट गिरने के बाद पाकिस्तानी बल्लेबाज रक्षात्मक शैली पर उतर आए. फखर जमान और साहिबजादा फरहान ने 39 रन की साझेदारी जरूर की, लेकिन इसके लिए उन्होंने 38 गेंदों का सामना किया. यह रन रेट आज के जमाने में वनडे क्रिकेट के लिए भी धीमा माना जाता है. परिणामस्वरूप, पाकिस्तान न तो पर्याप्त रन बना पाया और न ही विकेटों को बचा पाया. टीम के छह बल्लेबाज 100 का स्ट्राइक रेट भी हासिल नहीं कर पाए.

भारत का शानदार प्रदर्शन

यह कहना गलत होगा कि सिर्फ पाकिस्तान की गलतियों के कारण भारत जीता. भारतीय टीम ने पहले से लेकर आखिरी गेंद तक शानदार प्रदर्शन किया. हार्दिक पंड्या ने मैच की पहली ही कानूनी गेंद पर विकेट लेकर तुरंत दबाव बना दिया. जसप्रीत बुमराह ने अगले ओवर में दूसरा विकेट झटक लिया. इसके बाद भारतीय स्पिन गेंदबाजों ने पाकिस्तानी बल्लेबाजों को पूरी तरह जकड़ लिया. कुलदीप यादव ने 4 ओवर में सिर्फ 18 रन देकर 3 विकेट लिए. अक्षर पटेल ने भी 18 रन देकर 2 विकेट झटके. वरुण चक्रवर्ती ने भी 1 विकेट के साथ अर्थव्यवस्था बनाए रखी.

बल्लेबाजी में भारत का आक्रामक रवैया रहा. पावरप्ले में 61 रन बनाने के बाद सूर्यकुमार यादव, हार्दिक पंड्या और रवींद्र जडेजा जैसे बल्लेबाजों ने शानदार स्ट्राइक रेट के साथ बल्लेबाजी करते हुए 25 गेंद शेष रहते ही मैच जीत लिया. यह जीत न केवल टूर्नामेंट में भारत की स्थिति मजबूत करती है बल्कि इस historical dominance को भी रेखांकित करती है.

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