रीवा जिले के त्योंथर तहसील के एक सेवानिवृत्त फौजी ने अपनी फरियाद सुनाने के लिए अनोखा तरीका अपनाया, जिसे देखकर कलेक्ट्रेट कार्यालय में हर कोई हैरान रह गया. हाथों में नारियल और फूल लिए, लेकिन गले में ‘रिश्वत के बजट’ का सूटकेस लटकाए यह पूर्व सैनिक अपनी व्यथा सुनाने कलेक्ट्रेट पहुंचे. उनका नाम है योगेश कुमार तिवारी जो रीवा जिले के त्योंथर तहसील के मलपार गांव के निवासी हैं. योगेश भारतीय सेना में हवलदार के पद से सेवानिवृत्त हुए हैं, वो न्याय पाने के लिए एक अनोखा तरीका अपनाए हैं. वे कलेक्ट्रेट कार्यालय में अपनी शिकायत लेकर पहुंचे, लेकिन खास बात यह थी कि उनके गले में एक सूटकेस लटका था – जिसे उन्होंने ‘रिश्वत का बजट’ बताया.
रिश्वत का सूटकेस बना विरोध का प्रतीक
योगेश तिवारी का आरोप है कि गांव के दबंगों ने न केवल उनकी पुश्तैनी जमीन पर कब्जा कर लिया, बल्कि अधिकारियों से सांठगांठ कर उसे शासकीय भूमि भी घोषित करवा दिया. उन्होंने इस अन्याय के खिलाफ 10 वर्षों से संघर्ष किया, लेकिन अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुई.
जमीन पर कब्जा और प्रशासन की चुप्पी
योगेश कहते हैं कि, अधिकारी बिना रिश्वत लिए कोई काम नहीं करते. इसलिए वे अपनी पत्नी के गहने और जमा पूंजी लेकर कलेक्ट्रेट कार्यालय आए, ताकि जो भी अधिकारी उनका काम करेगा उसे यह सूटकेस दे सकें. उन्होंने इसे एक प्रतीकात्मक विरोध बताया.
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रिश्वत का दर्द और न्याय की गुहार
कलेक्टर प्रतिभा पाल ने मामले पर संज्ञान लेते हुए कहा कि जनसुनवाई में आवेदक की बात सुनी जाएगी और नियमानुसार जांच करवाई जाएगी. योगेश तिवारी को न्याय दिलाने के लिए उचित कदम उठाए जाएंगे.